बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई? | History of bitcoin? A Short History Of Bitcoin.
आपने बिटकॉइन के बारे में सुना तो होगा , जो की एक क्रिप्टो करेंसी है। हालाँकि बिटकॉइन को देखा या छुआ नहीं जा सकता लेकिन फिर भी इसका क्रेज प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। यह क्रिप्टो करेंसी एक डिजिटल मुद्रा है। अमीर लोग अपनी सेविंग्स को बढ़ा रहे है जिस कारण बिटकॉइन की मूल्य में वृद्धि होती जा रही है।
सन २०१७ में बिटकॉइन उच्च कीर्तिमान (रिकॉर्ड) बनाने के बाद इसके ग्राफ में थोड़ी कमी आ गए थी। लेकिन अंतिम ३ बर्षो में इसने फिर से रेकॉर्ड कायम कर लिया है। इस क्रिप्टो करेंसी में विषेस लोग निवेश कर रहे है। आइये थोड़ा History of bitcoin? के बारे में जानते है|
बिटकॉइन बिटकॉइन की शुरुआत का इतिहास | What is the history of bitcoin
बिटकॉइन के बारे में पहली बार सन 2008 को सातोशी नकामोटो satoshi nakamoto ने वाइट पेपर में प्रकाशित किया था। उस वाइट पेपर में बिटकॉइन काम कैसे करता है ? इसके बारे में जानकारी बिटकॉइन की शुरुआत दी गई थी। लेकिन इसको बनाने वाले की स्पष्ट जानकारी किसी को मालूम नहीं चली बस एक नाम उठ कर आया सातोशी नकामोटो।
हालांकि बिटकॉइन के पीछे कोई इंसान है या कोई ग्रुप ? इसके बारे में कोई भी ठीक से नहीं जानता। बिटकॉइन मुद्रा ३ जनवरी 2001 को प्रकाशित किया गया था। शुरुआत के दिनों में इसका प्रचलन बहुत धीमा रहा, लेकिन 2015 के आते ही पूरी दुनिया भर में इसका प्रचलन होने लगा। जिससे की लोगो ने इसमें ज्यादा से ज्यादा ट्रेडिंग (निवेश) बिटकॉइन की शुरुआत करना शुरु कर दिया। देखते ही देखते बिटकॉइन कई देशो में कानूनी रूप से जाना जाने लगा।
जिस कारण इसकी कीमत में बढोतरी हुई। वर्तमान में इसकी कीमत 50000 डॉलर के आस पास है। हाल ही में भारत में इसका प्रचलन बहुत बढ़ा है।सर्वोच्च न्यायालय ने भी इसकी मंजूरी दे दी है| अब भारतीय सरकार क्रिप्टोकरेंसी को रेगुलेट करने पर विचार कर रही है।
बिटकॉइन में ट्रेडिंग कैसे करे ? How to trade Bitcoin?
दुनिया भर में बिटकॉइन की कीमत एक समान है जिससे लोग इसमें ज्यादा से ज्यादा निवेश(trading) करने लगे है। बिटकॉइन की ट्रेडिंग डिजिटल वॉलेट के द्वारा की जाती है। और इसकी कीमत दुनिया भर की गतिबिधियो को देखते हुए बढ़ती अथवा घटती रहती है कोईभी देश बिटकॉइन की कीमत को तय नहीं कर सकता है इसे केवल डिजिटली कण्ट्रोल किया जा सकता है। बिटकॉइन में ट्रेडिंग किसी भी समय सकते है इसका कोई निर्धारित समय नहीं होता है। और याद रखें बिटकॉइन ट्रेडिंग में बहुत तेज़ी से उतार चढाव होते रहते है। इसलिए बहुत सावधानी से इसमें निवेश करें।
बिटकॉइन का लेनदेन
बिटकॉइन में निवेस करने के लिए “kraken” प्लेटफार्म का उपयोग किया है जो की बिटकॉइन के लेनदेन का माध्यम है। “Kraken” को साल २०११ में जारी किया गया था। बिटकॉइन को एक्सचेंज करने के लिए आपको केवल ३ पद्धति का पालन करना होगा। वो है –
- “kraken” प्लेटफार्म में अपना एक खता बनाये।
- आप ट्रेडिंग पद्धति का चयन करे।
- फिर आपको ट्रेडिंग के लिए बिटकॉइन की कीमत का रिकॉर्ड खाता मिलेगा। इसको ठीक से पढ़ कर आपको सही समय पर बिटकॉइन को खरीदें या आर्डर दें।
निष्कर्ष
अंत में यह कहना ठीक होगा की ये क्रिप्टो करेंसी आपकी निवेश को बढ़ा सकती है और आपको बहुत बड़ी राशि में लाभ भी दिला सकती है। लेकिन इसमें खतरा भी बहुत है। जब भी आप निवेश करें सोच समझ कर करें।
Happy Birthday Bitcoin: 13 साल का हो गया Bitcoin, 6 पैसे से शुरू हुआ सफर अब 35 लाख रुपये का
Bitcoin 13 years journey: अभी बिटकॉइन 34,85,856.77 रुपये पर ट्रेड कर रहा है. सिर्फ आज के ट्रेड में यह करीब 30 हजार रुपये चढ़ा है. पिछले साल एक समय इसकी कीमत 50 लाख रुपये तक पहुंच गई थी. इसे बिना सरकारी नियंत्रण वाली भविष्य की ऑनलाइन पेमेंट प्रणाली के रूप में शुरू किया गया था. जब इसे लॉन्च किया गया था, तब इसकी कीमत महज 0.0008 डॉलर (करीब छह पैसे) थी.
aajtak.in
- नई दिल्ली,
- 04 जनवरी 2022,
- (अपडेटेड 04 जनवरी 2022, 5:53 PM IST)
- 13 साल का हो गया बिटकॉइन
- छह पैसे से शुरू हुआ सफर लाखों में पहुंचा
सबसे लोकप्रिय और वैल्यूएबल क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) बिटकॉइन (Bitcoin) ने इस सप्ताह 13 साल पूरे कर लिए. बिटकॉइन ने 13 साल के इस सफर में इन्वेस्टर्स को जादुई रिटर्न दिया है. इसने 13 साल पहले मात्र छह पैसे से सफर की शुरुआत की, जो अभी करीब 35 लाख रुपये के स्तर पर पहुंच चुका है.
तीन जनवरी है बिटकॉइन की मिंट डेट
बिटकॉइन के बर्थडे (Bitcoin Birthday) पर लोगों में एक राय नहीं है. इस क्रिप्टोकरेंसी का व्हाइटपेपर (Bitcoin Whitepaper) 28 अक्टूबर 2008 को जारी हुआ था, लेकिन इसकी मिंट डेट (Bitcoin Mint Date) 3 जनवरी 2009 है. इस कारण कुछ लोग 28 अक्टूबर को बिटकॉइन का बर्थडे मानते हैं, जबकि कई सारे लोग 3 जनवरी को इसका जन्मदिन मनाते हैं. बहरहाल जन्मदिन की तारीखों पर भले विवाद हो, लेकिन इस बात में दो मत बिटकॉइन की शुरुआत नहीं है कि इसने क्रिप्टोकरेंसी के संसार को पंख लगा दिए.
फाउंडर की पहचान अभी तक गोपनीय
बिटकॉइन की शुरुआत सातोशी नाकामोतो (Satoshi Nakamoto) ने की थी, जिनकी पहचान अभी तक जाहिर नहीं हो पाई है. सातोशी नाकामोतो के वॉलेट (Satoshi Nakamoto Wallet) बिटकॉइन की शुरुआत में अभी करीब 73 बिलियन डॉलर के बिटकॉइन टोकन मौजूद हैं. 2011 के बाद भी नाकामोतो के वॉलेट का वजन बढ़ता गया है. नाकामोतो ने इनमें से कुछ भी खर्च नहीं किया है.
एक समय 50 लाख हो गई थी बिटकॉइन की कीमत
अभी बिटकॉइन 34,85,856.77 रुपये पर ट्रेड कर रहा है. सिर्फ आज के ट्रेड में यह करीब 30 हजार रुपये चढ़ा है. पिछले साल एक समय इसकी कीमत 50 लाख रुपये तक पहुंच गई थी. इसे बिना सरकारी नियंत्रण वाली भविष्य की ऑनलाइन पेमेंट प्रणाली के रूप में शुरू किया गया था. जब इसे लॉन्च किया गया था, तब इसकी कीमत महज 0.0008 डॉलर (करीब छह पैसे) थी.
इससे ज्यादा नहीं हो सकती है बिटकॉइन की माइनिंग
बिटकॉइन की वैल्यू में इस तेजी का कारण इसी माइनिंग पर लगी लिमिट है. नाकामोतो ने इसकी शुरुआत के समय ही यह तय कर दिया था कि बिटकॉइन के यूनिट की संख्या कभी भी 2.10 करोड़ से अधिक नहीं हो सकती है. अगस्त 2021 तक मार्केट में 1.87 करोड़ बिटकॉइन यूनिट उपलब्ध थे. इस तरह अब बिटकॉइन के सिर्फ 23 लाख यूनिट की माइनिंग (Bitcoin Mining) की जा सकती है.
13 साल का हुआ बिटकॉइन, निवेशकों के 1000 रुपये को बना दिया 76.4 करोड़
Bitcoin Price- दुनिया की सबसे पुरानी और सबसे लोकप्रिय क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन (Bitcoin) किशोर अवस्था में प्रवेश करने वाली पहली क्रिप्टोकरेंसी (cryptocurrency) बिटकॉइन की शुरुआत बन गई है। बिटकॉइन ने 13 साल पुरे कर लिए.
Bitcoin Price- दुनिया की सबसे पुरानी और सबसे लोकप्रिय क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन (Bitcoin) किशोर अवस्था में प्रवेश करने वाली पहली क्रिप्टोकरेंसी (cryptocurrency) बन गई है। बिटकॉइन ने 13 साल पुरे कर लिए हैं। हालांकि, बिटकॉइन का श्वेतपत्र सातोशी नाकामोतो द्वारा 28 अक्टूबर, 2008 को जारी किया गया था, लेकिन मिंट डेट 3 जनवरी, 2009 है, इसीलिए लोग 3 जनवरी को ही इसका बर्थडे मानते हैं। Mudrex के सीईओ और सह-संस्थापक एडुल पटेल (Edul Patel) ने कहा कि दुनिया भर में क्रिप्टोकरेंसी और ब्लॉकचेन (blockchain) के उदय के पीछे बिटकॉइन की अहम भूमिका रही है।
पहला ट्रांजैक्शन मई 2009 में हुआ था
बता दें कि बिटकॉइन के क्रिएटर नाकामोतो ने 3 जनवरी को बिटकॉइन का ऑरिजिनल ब्लॉक बिटकॉइन की शुरुआत रिलीज किया था, जिसे वर्तमान में जेनेसिस ब्लॉक (Genesis Block) के नाम से जाना जाता है। इसमें पहली 50 बिटकॉइन थीं। इंडिया ब्लॉकचैन एलायंस के संस्थापक राज ए कपूर के मुताबिक, इसका पहला ट्रांजैक्शन मई 2009 में हुआ था।
रोमांचक रहा 13 साल का सफर
बिटकॉइन की 13 साल की यात्रा बेहद उतार-चढ़ाव वाला रहा। बिटकॉइन को लेकर कुछ मजबूत कट्टर आलोचक रहे तो कुछ सपोर्टर। कुल मिलकर बिटकॉइन के लिए यहां तक का सफर बेहद रोमांचक रहा। यह करेंसी आज भी यह अपने वजूद के लिए संघर्ष कर रही है। हालांकि, बिटकॉइन के प्रति निवेशकों का भरोसा बढ़ रहा है।
निवेशकों को 76.43 करोड़ रुपये का फायदा
शुरुआत से लेकर अब तक बिटकॉइन ने कितना रिटर्न दिया इसे कैलकुलेट करना थोड़ा मुश्किल है, क्योंकि उस समय जब इसे पेश किया गया था तब इसकी कीमत शून्य थी। जुलाई 2010 में, इसकी कीमत $0.09 हो गई और नवंबर 2021 में यह 68,790 डॉलर के ऑल टाइम हाई पर पहुंच गई थी। बिटकॉइन ने पिछले 13 साल में अपने निवेशकों को भारी भरकम रिटर्न दिया है। इसने अपने रजिस्टर लो से ऑल टाइम हाई तक 7,64,33,233 का अविश्वसनीय रिटर्न दिया है। यानी शुरुआत में किसी निवेशक ने इसमें 1000 रुपये का निवेश किया होता तो नवंबर 2021 में यह रकम 76.43 करोड़ रुपये बन जाती।
बिटकॉइन क्या है और किसने की थी इसकी शुरुआत? बैंक इसे लेकर क्यों हैं परेशान, जानिए सबकुछ
कई ऑनलाइन मार्केट प्लेस से बिटकॉइन खरीदे या बेचे जा सकते हैं. कई वेबसाइट्स भी बिटकॉइन की शुरुआत बिटकॉइन खरीदती और बेचती हैं.
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नई दिल्लीः इन दिनों बिटकॉइन की खूब चर्चा हो रही है. दरअसल इसकी वजह है कि बिटकॉइन की कीमत, जो कि बढ़कर रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गई है. बता दें कि एक बिटकॉइन की कीमत इस वक्त करीब 26 लाख रुपए हो गई है. यही वजह है कि निवेशक इन दिनों बिटकॉइन में खूब बिटकॉइन की शुरुआत निवेश कर रहे हैं.
क्या है बिटकॉइन
बिटकॉइन एक वर्चुअल करेंसी है, जिसे क्रिप्टोकरेंसी भी कहा जाता है. बिटकॉइन को सातोशी नाकामोतो नामक शख्स द्वारा साल 2009 में बनाया गया था. हालांकि उस वक्त इसकी कीमत 5-6 रुपए प्रति बिटकॉइन थी. आम करेंसी की तरह बिटकॉइन को देखा या छुआ नहीं जा सकता. हालांकि इससे ऑनलाइन खरीद-फरोख्त हो सकती है. इससे कोई भी सामान खरीदा जा सकता है. खास बात ये है कि इंटरनेशनल लेवल पर बिटकॉइन से पेमेंट करना फायदेमंद है क्योंकि अभी तक बिटकॉइन पर किसी देश या किसी संस्था का रेगुलेशन नहीं है. बिटकॉइन की बढ़ती कीमत के चलते इन दिनों लोग बिटकॉइन में खूब निवेश कर रहे हैं.
कैसे खरीदा जाता है बिटकॉइन
कई ऑनलाइन मार्केट प्लेस से बिटकॉइन खरीदे बिटकॉइन की शुरुआत या बेचे जा सकते हैं. कई वेबसाइट्स भी बिटकॉइन खरीदती और बेचती हैं. डिजिटल तरीके से कैश जैसे भेजा जाता है, वैसे ही बिटकॉइन का लेन-देन किया जा सकता है. ट्रेडिंग के लिए यूजर को अपना अकाउंट बनाना होता है. इसी बिटकॉइन की शुरुआत अकाउंट से बिटकॉइन की ट्रेडिंग की जा सकती है.
क्या है बिटकॉइन माइनिंग
बिटकॉइन को कंप्यूटर पर ही गणित के जटिल बिटकॉइन की शुरुआत सवाल हल करके भी हासिल किया जा सकता है. इस तरह बिटकॉइन पाने को बिटकॉइन माइनिंग कहा जाता है. बिटकॉइन शुरुआत में भी इसी तरह बनाया गया था. अभी भी लोग बिटकॉइन माइनिंग कर इस क्रिप्टोकरेंसी को प्राप्त कर रहे हैं.
बिटकॉइन वॉलेट
बिटकॉइन एक डिजिटल वॉलेट में स्टोर रहते हैं. इस डिजिटल वॉलेट को ही बिटकॉइन वॉलेट कहा जाता है. यह बिटकॉइन वॉलेट यूजर के कंप्यूटर पर या फिर ऑनलाइन क्लाउड पर हो सकता है. बिटकॉइन वॉलेट एक तरह का वर्चुअल बैंक अकाउंट हैं. जिसे एक खास पासवर्ड से ही खोला जा सकता है. अगर किसी यूजर ने इस डिजिटल वॉलेट का पासवर्ड गुम कर दिया तो फिर उसका बिटकॉइन भी गुम हो जाएंगे.
ऐसा ही एक मामला हाल ही में सामने आया है, जहां एक व्यक्ति के बिटकॉइन वॉलेट में 7000 बिटकॉइन हैं, जिनकी कीमत करोड़ों में है. लेकिन वह अपने बिटकॉइन वॉलेट का पासवर्ड भूल गया है. इस तरह से वह करोड़पति होते हुए भी उसके पास कुछ नहीं है. एक स्टडी के मुताबिक कुल बिटकॉइन के 25 फीसदी तो ऐसे ही कारणों से गुम हैं.
क्या हैं बिटकॉइन के खतरे
बिटकॉइन के ऑनलाइन लेनदेन की खास बात ये है कि इसका कोई रिकॉर्ड नहीं होता है. जिसके चलते बिटकॉइन खरीदने या बेचने वाले व्यक्ति को ढूंढ पाना लगभग नामुमकिन है. यही वजह है कि कई देशों में गैरकानूनी कामों जैसे ड्रग्स आदि खरीदने के लिए बिटकॉइन का इस्तेमाल किया जा रहा है. आशंका है कि बिटकॉइन सुरक्षा के लिए भी खतरा हो सकता है.
बैंक क्यों हैं इसे लेकर परेशान
दरअसल तकनीक और इंटरनेट के बढ़ते असर के चलते बिटकॉइन के इस्तेमाल में खासी बढ़ोत्तरी हुई है. दुनियाभर में निवेशक क्रिप्टोकरेंसी में निवेश कर रहे हैं. बता दें कि बिटकॉइन की तरह ही कई अन्य वर्चुअल करेंसी भी अस्तित्व में हैं. लेकिन इनमें बिटकॉइन का वर्चस्व है और कुल क्रिप्टोकरेंसी में 69 फीसदी हिस्सेदारी बिटकॉइन की है.
चूंकि इस करेंसी का नियमन (रेगुलेशन) नहीं है. इसके कारण दुनियाभर के बैंक इसे लेकर चिंतित हैं. क्रिप्टोकरेंसी के लेनदेन में किसी भी थर्ड पार्टी जैसे बैंक आदि की जरूरत नहीं होती. ऐसे में कर चोरी की आशंका है. देश बिटकॉइन तो करेंसी के तौर पर मान्यता नहीं दे रहे हैं. ऐसे में बिटकॉइन से अर्थव्यवस्था के लिए खतरा पैदा हो सकता है.
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